एमसीबी : जिले की खड़गवां एवं मनेंद्रगढ़ की ग्राम पंचायत को मिला नए विकास कार्य, 12 निर्माण कार्यों को मिली प्रशासकीय स्वीकृति

प्रशासकीय स्वीकृति कार्यों में होगा कड़ी नियम शर्तें, गुणवत्ता और पारदर्शिता को किया गया है अनिवार्य
एमसीबी/16 जून 2025
कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी द्वारा 13 जून 2025 को जारी आदेश के अनुसार राज्य एवं अन्य पिछड़ा वर्ग विकास प्राधिकरण के अंतर्गत मनेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर जिले के लिए कुल 101,20 (एक सौ एक लाख बीस हजार रुपये मात्र) की प्रशासकीय स्वीकृति प्रदान की गई है। यह राशि जिले की विभिन्न ग्राम पंचायतों में 12 निर्माण कार्यों के लिए स्वीकृत की गई है, जिससे ग्रामीण क्षेत्रों में अधोसंरचना को सुदृढ़ करते हुए सामाजिक और सांस्कृतिक गतिविधियों को बढ़ावा मिलेगा। ये स्वीकृतियां मुख्यमंत्री सचिवालय, प्राधिकरण प्रकोष्ठ, महानदी भवन, नया रायपुर और विकास भवन, अटल नगर रायपुर से प्राप्त दिशा-निर्देशों के आधार पर दी गई हैं। प्रत्येक कार्य को समयसीमा में पूर्ण करने और गुणवत्ता सुनिश्चित करने हेतु सभी तकनीकी स्वीकृतियां भी पहले ही प्रदान की जा चुकी हैं।
जिसमे विकासखंड खड़गवां के विधानसभा क्षेत्र मनेंद्रगढ़ की ग्राम ठग्गांव में रोड निर्माण कार्य हुहाईपारा मेन सड़क से धरमपाल धर तक के लिए 4.80 लाख रुपए स्वीकृत किया गया है। ग्राम पंचायत दुबछोला में सी.सी. रोड निर्माण सोमार सिंह घर से अमोल सिंह घर तक के लिए 4.80 लाख रुपए स्वीकृत किया गया है। ग्राम बेलबहरा में सी.सी. रोड निर्माण हरिजन पारा से सोमारु घर तक के लिए 4.80 लाख रुपए स्वीकृत किया गया है। ग्राम पंचायत कदरेवा में सी.सी. रोड निर्माण तालाब से प्रेम घर तक के लिए 4.80 लाख रुपए स्वीकृत किए गए हैं। ग्राम पंचायत सकडा में लालपुर चौक के पास मंच निर्माण के लिए 2.20 लाख रुपए स्वीकृत किए गए हैं। ग्राम पंचायत मेंड्रा में सी.सी. रोड निर्माण अगरियापारा से राजभजन घर पहुंच मार्ग के लिए 4.80 लाख रुपए स्वीकृत किए गए हैं। ग्राम पंचायत रतनपुर में सी.सी. रोड निर्माण रामकिशुन घर से इन्द्रपाल की कुआं तक लिए 15 लाख एवं सी.सी. रोड निर्माण मोहन घर से आंजन नाला तक के लिए 10 लाख रुपए स्वीकृत किए गए है। ग्राम पंचायत कौड़ीमार में सी.सी. रोड निर्माण कौड़ीमार मुख्य मार्ग से देवगुड़ी पण्डोपारा पहुंच मार्ग तक के लिए 10 लाख रुपए एवं आरसीसी पुलिया निर्माण सिहारडाड अंबेडकर पारा शिवकुमार खेत के पास तक 15 लाख रुपए स्वीकृत किए गए हैं। वहीं विकासखंड मनेंद्रगढ़ के ग्राम पंचायत बंजी में आरसीसी पुलिया निर्माण जोगी डोगरी के पास के लिए 15 लाख एवं आरसीसी पुलिया निर्माण बोदरापारा रोड़ मौहारी के पास के लिए 10 लाख रुपए स्वीकृत किया गया है।
प्रशासकीय स्वीकृति के साथ कुछ विशेष शर्तें निर्धारित की गई हैं जिनमें यह सुनिश्चित करना अनिवार्य होगा कि सभी कार्य ग्रामीण अथवा नगर पंचायत क्षेत्र में होना अनिवार्य है। संबंधित एजेंसी सक्षम अधिकारी से भूमि आवंटन आदेश प्राप्त होने के उपरांत ही नियमानुसार कार्य प्रारंभ करेंगे। बिना आवंटन आदेश के कार्य प्रारंभ करने की दशा में एजेंसी स्वत जिम्मेदार होगा। उक्त स्वीकृति कार्यों के संबंध में कार्य एजेंसी यह सुनिश्चित करेगी कि यह किसी योजना में शामिल नहीं होना चाहिए, अन्य योजना में स्वीकृत होने की स्थिति में यह प्रशासकीय स्वीकृति स्वमेव निरस्त माना जाएगा। अस्वीकृति कार्य तकनीकी स्वीकृति उपरांत ही प्रारंभ किया जावे।
कार्य एजेंसी यह सुनिश्चित करे कि इस योजना के तहत स्वीकृत राशि का पृथक लेखा संधारित करना आवश्यक होगा। समस्त कार्य एजेंसी छत्तीसगढ़ भंडार क्रय नियम को एवं संबंधित विभाग के कार्य नियमावली का पालन करते हुए निर्माण कार्य संपन्न कराए जाएंगे। वही कार्य निर्धारित प्राक्कलन एवं मापदंड के अनुसार कराए जाएंगे। यदि किसी कार्य के संबंध में किसी प्रकार की अनियमितता या गुणवत्ताहीन की शिकायत पाई जाती है तो तो कार्य की पूरी लागत राशि क्रियान्वयन एजेंसी से भू-राजस्व की भांति वसूल की जाएगी। वहीं प्रशासकीय स्वीकृति इस शर्त पर दी गई है कि स्वीकृत कार्यों का रखरखाव और मरम्मत आगामी पांच वर्षों तक कार्य एजेंसी द्वारा ही किया जाएगा। कोई भी निर्माण कार्य वन भूमि या विवादित निजी भूमि पर नहीं किया जाएगा और यदि निर्माण स्थल वन संरक्षण अधिनियम 1980 के अंतर्गत आता हो तो जिला स्तरीय समिति से अनुमति प्राप्त करना अनिवार्य होगा। भुगतान से पहले यह सुनिश्चित किया जाएगा कि किए गए कार्य स्वीकृत प्राक्कलन एवं अनुबंध के अनुरूप मात्रा व दरों के अनुसार ही हैं और माप का विधिवत सत्यापन किया गया है। किसी भी प्रतिबंधित मद में भुगतान नहीं किया जाएगा। कार्यस्थल पर निरीक्षण पंजी, श्रमिकों की उपस्थिति पंजी, प्राथमिक उपचार किट, छोटे बच्चों के लिए दवाई की व्यवस्था तथा विस्तृत कार्य विवरण रखना अनिवार्य होगा। स्वीकृति राशि से अधिक व्यय की स्वीकृति नहीं दी जाएगी तथा ऐसा व्यय कार्य एजेंसी की जिम्मेदारी मानी जाएगी। मजदूरी भुगतान न्यूनतम वेतन अधिनियम 1948 के अनुरूप किया जाना अनिवार्य है। कार्य प्रारंभ से पूर्व लेआउट के समय तथा कार्य पूर्ण होने पर स्थल के फोटो लेना और प्रस्तुत करना अनिवार्य होगा ताकि कार्य की सफलता की कहानी तैयार की जा सके। कार्य पूर्ण होने के उपरांत परिसंपत्ति पंजी में प्रविष्टि तथा पूर्णता प्रमाण पत्र के साथ निरीक्षण विवरण प्रस्तुत किया जाना आवश्यक है। कार्य में प्रयुक्त खनिज की रॉयल्टी प्रत्येक वित्तीय वर्ष में जमा करना होगा और अंतिम किस्त का भुगतान रॉयल्टी चुकता प्रमाण पत्र के सत्यापन के पश्चात ही किया जाएगा। समस्त कार्यों में प्राधिकरण निधि नियम 2024 का पालन अनिवार्य रूप से किया जाना होगा। अंततः कार्य प्रारंभ से पूर्व और कार्य पूर्ण होने के उपरांत स्थल के दो-दो फोटोग्राफ, पूर्णता एवं उपयोगिता प्रमाण पत्र, निरीक्षण प्रतिवेदन, माप पुस्तिका तथा बचत राशि सहित समस्त दस्तावेज जिला कार्यालय को भेजना सुनिश्चित करना होगा।